घटनाक्रम उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ का है जहां एक शख्स अपने दो बच्चों और अपनी पत्नी के साथ गले में बैनर टांगकर बस स्टैंड चौराहे पर. ‘मेरा बेटा बिकाऊ है, मुझे मेरा बेटा बेचना है.’ का बैनर लगाकर बैठा दिखाई दिया बताया जा रहा है कि शख्स इतना कर्ज के बोझ तले दबा हुआ है कि मजबूरी में वसूली करने वालों से परेशान होकर उसने ये कदम उठाया है.
मिली जानकारी के अनुसार सारा मामला अलीगढ़ के थाना महुआखेड़ा के इलाके का है. जहां निहार मीरा स्कूल के पास के रहने वाले राजकुमार का आरोप है कि कुछ समय पहले उसने प्रॉपर्टी खरीदने के लिए कुछ लोगों से कर्ज लिया था लेकिन उन लोगों ने हेरा फेरी कर्ज कर इतना बढ़ा दिया अदायगी मुश्किल हो गई तब पैसा देने वाले लोगों ने अपना पैसा निकलवाने के लिए उसकी प्रॉपर्टी के कागजों को बैंक में बंधक रखवा कर बैंक से लोन ले लिया अब स्थिति यह है कि पीड़ित के पास प्रॉपर्टी भी नहीं बची और वो वैसा का वैसा ही कर्जदार रह गया ।
राजकुमार का आरोप है कि उसे ना तो प्रॉपर्टी मिली और ना ही उसके हाथ में रुपया आया. फिर भी दबंग कर्जदार लगातार उसपर पैसे वसूलने का दबाव बना रहे हैं. और तो और कर्ज देने वाले दबंगों ने कुछ दिन पहले उसकी 2 जून रोटी का साधन ई रिक्शा भी उससे छीन लिया जिससे वह अपने परिवार का पालन पोषण करता था ।
आपको बता दें कि राजकुमार ने बताया कि इसी वजह से उसे परेशान होकर अपने बेटे को बेचने के लिए बस स्टैंड चौराहे पर बैठना पड़ा है. अपनी पत्नी, बेटे और एक छोटी बेटी के साथ आकर राजकुमार जब चौराहे पर बैठा तो मामला इलाके में चर्चा का विषय बन गया. अपनी मुफलिसी से तंग आकर राजकुमार कहते हैं- 6–7 लाख में अगर कोई मेरा बेटा खरीद लेगा तो मैं कम से कम चैन से अपनी बेटी को पढ़ा लिखा कर उसकी शादी करने के साथ ही अपने परिवार का गुजर बसर भी कर सकूंगा।
आपको बता दें कि राजकुमार ने पुलिस पर भी आरोप लगाया है की पुलिस की बेरुखी से मुझे मजबूरी में यह कदम उठाना पड़ रहा है क्योंकि मैं पुलिस के पास गया था लेकिन वहां से मुझे कोई मदद नहीं मिली हालांकि सारे घटनाक्रम के बाद थाना गांधी पार्क पुलिस मौके पर पहुंची और राजकुमार को अपने परिवार सहित उठाकर थाने ले आई।
डीएसपी विशाल चौधरी ने घटनाक्रम के बारे में बताते हुए कहा कि महुआखेड़ा थाना इलाके के एक परिवार द्वारा अपने बेटे को बेचे जाने का मामला पुलिस के संज्ञान में आया था. पूछताछ करने पर ज्ञात हुआ कि पूरा मामला दो लोगों के बीच पैसे के लेनदेन का है. हालांकि दोनों ही पक्षों को थाने पर बुलाया गया है. जहां दोनों के बीच सहमति से समझौता करा दिया गया.।