अपर मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन ने कोविड राहत पैकेज के तहत मुख्यमंत्री की ओर से की गई घोषणाओं की विभागवार समीक्षा की गई। उन्होंने सभी सम्बन्धित विभागीय अधिकारियों को मुख्यमंत्री की घोषणाओं को जल्द पूर्ण करने के भी निर्देश दिये। कोविड राहत पैकेज के अन्तर्गत मुख्यमंत्री द्वारा की गई घोषणाओं की समीक्षा के दौरान पर्यटन विभाग द्वारा बताया गया कि पर्यटन व्यवसाय की विभिन्न गति विधियों से सम्मिलित व्यक्तियों, टूर ऑपरेटर्स वोट संचालकों, आदि कुल 20810 लाभार्थियों को 13.39 करोड और वीरचन्द्र सिंह गढ़वाली एवं दीन दयाल होम स्टे योजना के अन्तर्गत 590 लाभार्थियों को व्याज की प्रतिपूर्ति के रूप में 1.33 करोड़ अवमुक्त की गई है।
परिवहन विभाग के अन्तर्गत कुल 32486 सार्वजनिक सेवायानों के चालकों, परिचालक, क्लीनर को आर्थिक सहायता के रूप में 6.68 करोड़ की धनराशि संस्कृति विभाग के 1030 सांस्कृतिक दलों को 21 लाख शहरी विकास विभाग के अन्तर्गत नौकुचियाताल भीमताल, सातताल आदि में पंजीकृत 420 वोट संचालकों को 42 लाख, महिला एवं बाल विकास विभाग के अन्तर्गत मुख्यमंत्री वात्सल्य योजना के तहत 2318 लाभार्थियों का 2.79 करोड़ की धनराशि अवमुक्त की जा चुकी है।
समीक्षा के दौरान ग्राम्य विकास विभाग द्वारा बताया गया कि ग्रामीण आजीविका मिशन के अन्तर्गत 217526 स्वयं सहायता समूहों को ब्याज प्रतिपूर्ति के रूप में 20.58 करोड़, ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत 65186 सीएलएफ को एक मुस्त अनुदान के रूप में 7.95 करोड़ तथा 459 ग्राम विकास अधिकारी, ग्राम पंचायत अधिकारी एवं सहायक विकास अधिकारियों को रू. 10 हजार की प्रोत्साहन राशि के रूप में 45.90 करोड़ की धनराशि अवमुक्त कर दी गई है।
इसी प्रकार महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग की 33297 आंगनवाड़ी कार्यकर्तियों, मिनी कार्यकर्तियों एवं सहायिकाओं को एक हजार प्रति कार्मिक की दर से 3.33 करोड़, 33297 आंगनवाड़ी कार्यकर्ती एवं मिनी कार्यकर्ती एवं सहायिकाओं को दो हजार प्रति कार्मिक की दर से 6.66 करोड़ चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के अन्तर्गत 12529 आशा वर्कर आदि को दो हजार प्रतिमाह की दर से 5 माह का 12.53 करोड़, रक्षा बंधन पर 11983 आशा कार्यकर्तियों को एक हजार की दर से 1.20 करोड़, युवा कल्याण विभाग के 1087 युवक मंगल दल, महिला मंगल दलों को 6 माह की आर्थिक सहायता के रूप में 1.55 करोड़ तथा राजस्व विभाग के अधीन 1347 पटवारी लेखपाल, राजस्व निरीक्षक एवं नायब तहसीलदार को दस हजार की एक मुस्त प्रोत्साहन राशि के रूप में 1.34 करोड़ की धनराशि अवमुक्त की गई है।