काशीपुर । चैक बाउंस के दो अलग अलग मामलों में एक व्यक्ति को 14,80000 रुपये का जुर्माना तथा तीन तीन माह की सजा सुनाई गई है।
इस्लामनगर निवासी महबूब नामक व्यक्ति ने अपनी फर्म जिसमें वह साझेदार है, महबूब ट्रेडर्स के लिए मई जून 2017 में हरियावाला निवासी फैयाज से 14 लाख रुपये का माल खरीदा था। माल के भुगतान के एवज में महबूब ने 11लाख व 3 लाख के दो चैक भुगतान के लिए फैयाज को दिये। दोनों चैक डिसआनर हो गये।फैयाज ने अपने अधिवक्ता अमरीश अग्रवाल के माध्यम से धारा 138 एन आई एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कर दिया। न्यायालय में बहस के दौरान जारी किये गये चैक के बिल व आदि पेश किये। उधर महबूब की ओर से कहा गया कि उसकी चैक बुक खो गई और उसने कोई भी चैक फैयाज को नहीं दिया। लेकिन बाउंस चैक पर जो हस्ताक्षर थे वह महबूब के ही थे। न्यायालय में बहस के दौरान महबूब चैक खोने के सूबूत भी पेश नहीं कर पाया।
वादी के अधिवक्ता के द्वारा दिये गये तर्कों से न्यायिक मजिस्ट्रेट काशीपुर ने चैक बाउंस के मामले में महबूब को दोषी मानते हुए उसे दोनों बाउंस चैक के मामलों में अलग-अलग दोषी माना।
अभियुक्त को एक चैक बाउंस में 3, 30000 रुपये और तीन महीने की कैद तथा दूसरे चैक मामले में 11,50000 रूपए का जुर्माना अदा करने व तीन महीने की कैद की सजा सुनाई। साथ ही जुर्माना अदा न करने पर दो माह की अतिरिक्त साधारण कारावास भुगतना होगा।