भारत की कम्युनिस्ट पार्टी(माले) की हल्द्वानी ब्रांच की बैठक ऐक्टू कार्यालय हल्द्वानी में संपन्न हुई। बैठक को सम्बोधित करते हुए भाकपा (माले) जिला सचिव डा कैलाश पाण्डेय ने कहा कि, “सरकारी खजाने की लूट, महिलाओं- दलितों- अल्पसंख्यकों पर बढ़ते हमले, बढ़ती मंहगाई, बेरोजगारी और आमजन के अधिकार पर बढ़ते हमले के साथ जनता के बीच तीखा धार्मिक विभाजन पैदा करना मोदी सरकार की पहचान बन गए हैं।
यहां तक कि संघ- भाजपा इजराइल द्वारा फिलिस्तीन पर किए जा रहे सामूहिक नरसंहार का समर्थन करते हुए इसका इस्तेमाल भी देश में विभाजन की खाई को चौड़ा करने के लिए कर रहे हैं। आजादी के बाद से ही भारत की विदेश नीति फिलिस्तीन की उत्पीड़ित जनता के पक्ष में रही है लेकिन मोदी सरकार इसको पलट कर इजराइल के अन्याय के पक्ष में खड़ी है।
मजदूर,किसान, बेरोजगार, छात्र, युवा, महिलाएं,छोटे मझोले व्यवसाई व समाज के सभी कमजोर हिस्से अपने को ठगा महसूस कर रहे हैं। ऐसे में देश की जनता को इस जनविरोधी सरकार को उखाड़ फेंकने के लिए आगे आना होगा।”
उन्होंने कहा कि, “राज्य की धामी सरकार जनता के घर– व्यापार उजाड़ने की नीति पर काम कर रही है। हमें जनता के इस तकलीफ भरे समय में लोगों के साथ मजबूती से खड़ा होना होगा।”
बैठक में अगले साल की शुरुआत में 7-8 जनवरी 2024 को हल्द्वानी में होने वाले भाकपा (माले) के आगामी तीसरे राज्य सम्मेलन और सांगठनिक विस्तार पर भी बात हुई। इसके लिए हल्द्वानी में सघन अभियान चलाने का करने का निर्णय लिया गया। आगामी राज्य सम्मेलन से पहले पार्टी सदस्यता को बढ़ाने के लिए चौतरफा पहलकदमी ली जायेगी।
बैठक में भाकपा माले जिला सचिव डा कैलाश पाण्डेय, जोगेंद्र लाल, दीपक कांडपाल, धन सिंह गड़िया, मुकेश जोशी, विवेक, मनोज सिंह आर्य, ललित जोशी, चन्द्र सिंह आदि उपस्थित रहे।